नैतिक कहानी: दूसरों पर दया करो फल जरूर मिलेगा

naitik kahani in hindi

किसी गांव में एक जमीदार रहता था । उसके पास सैकड़ों बीघा जमीन थी । घर में सारे सुख के साधन थे । नौकर हमेशा मालिक की सेवा में लगे रहते थे । गांव के निकट ही एक मंदिर था, जहां एक भिखारी बैठा रहता था । वह भिखारी दो दिन से भूखा था । किसी ने उसे खाना नहीं दिया था । एक दिन जमीदार अपने नौकरों के साथ वहां से गुजर रहे थे कि उनकी नजर उस भिखारी पर पड़ी । जमीदार को देखते ही भिखारी बोला- ‘मालिक…

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नैतिक कहानी: सब कुछ दान किया फिर भी

एक बार एक लड़का मंदिर के पास बैठा रो रहा था, तभी एक सेठ अपने परिवार सहित उस मंदिर में पूजा करने आए । छोटे बच्चे को रोता देख उन्होंने उससे पूछा, ‘बेटा तुम क्यों रो रहे हो ।’ लड़के ने कहा मैं अनाथ हूं । मेरा इस दुनिया में कोई नहीं है ?’ बच्चे को रोता देख सेठ को दया आ गई और वे उसे अपने घर लेकर चले गए । सेठ दंपत्ति उस अनाथ बच्चे को अपने बेटे की तरह परवरिश देने लगे । जब वह थोड़ा बड़ा…

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नैतिक कहानी । धूर्त बन्दर और कछुआ

monke turtle

धूर्त बन्दर और कछुआ – Kids Story in hindi एक जंगल में कछुआ और बन्दर रहते थे । दोनों की गरही दोस्ती थी । कछुआ सीधा-साधा था, जबकि बन्दर घमंडी और उत्पाती था । एक दिन कछुए ने नदी में एक केले के पेड़ को देखा । उसने बन्दर से कहा, ‘दोस्त, हम उस केले के पेड़ को वहां से लेकर अपने बगीचे में लगते है और जो फल होंगे, उसे आपस में बांट लेंगे ।’ बन्दर भी सहमत हो गया । दोनों ने पेड़ को अपने बगीचे में लगा…

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नैतिक कहानी । राजू ने समझी माँ के त्याग की कीमत

Moral Story in hindi

A Moral Story in hindi   एक शहर में राजू का सबसे खास दोस्त विनोद था । विनोद थोड़ा अमीर था और उसे जेब खर्च के रूप में काफी पैसे मिलते थे । राजू की माँ एक फैक्ट्री में काम करती थी और उसी की कमाई से उनका घर चलता था । ऐसे में राजू को सीमित जेब खर्च ही मिल पता था । वह अक्सर अपनी माँ से शिकायत करता , ‘माँ मुझे भी दूसरे बच्चो की तरह खिलोने चाहिए । आप मुझे पैसे क्यों नहीं देती ?’ राजू…

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