प्रेरक प्रसंग : शादी करोगे तो घाटे में नहीं रहोगे

prerak prasang sukrat

दार्शनिक सुकरात का एक शिष्य कशमकश में था कि उसे विवाह करना चाहिए या नहीं । उसने अपने मित्रों, परिचितो, सगे संबंधियों और बड़े बुजुर्गों से सलाह ली, सबने अपनी-अपनी सलाह दी लोगों की सलाह से शिष्य का सिर चकरा गया । अंत में उसने गुरु की शरण ली । उसने सोचा गुरुजी का पारिवारिक जीवन बहुत कष्टकारी रहा था । इसलिए वे ज्यादा व्यवहारिक और सही रास्ता बताएंगे । फिर वह सुकरात से सलाह लेने चला गया । सुकरात ने उससे कहा तुम्हें शादी कर लेनी चाहिए। शिष्य यह…

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प्रेरक प्रसंग : दूध और खून

गुरु नानक लोगों को उपदेश देते हुए एक गांव में पहुंचे और गरीब बढ़ई के घर पर ठहरे। उसका नाम ‘लालो’ था। उसी गांव में एक धनाढ्य व्यक्ति रहता था, जिसका नाम ‘मलिक भागो’ था। उसने एक दिन गांव के सारे लोगों को भोजन के लिए निमंत्रित किया। सारे लोगों के खा चुकने पर उसने नौकरों से पूछा कि कहीं कोई आदमी बिना खाए तो नहीं है? इस पर नौकरों ने बताया कि ‘लालो’ के घर में एक साधु आया है, जो भोजन से वंचित रह गया है। भागो ने…

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